सीढ़ियों के उतार चढ़ाव कहीं लील न लें जीवन के अमूल्य



सीढ़ियों के उतार चढ़ाव कहीं लील न लें जीवन के अमूल्य 

लेख जनहित में जारी

PTN/ 15 फरवरी 2025/ सोलन 

हमारे भारत देश की देवभूमि कहलाने वाले हरित प्रदेश और सैलानियों को मंत्रमुग्ध कर देने वाले हिमाचल प्रदेश जिसमें की शहरों में बसने वाले हिमाचली और गैर हिमाचली वासियों के घरों में अच्छी सुविधाएँ हैं और आधुनिक  हिमाचल के रहन- सहन को दर्शाते हैं। 

वहीँ पर एक समस्या जो हमेशा से इन कॉलोनियों के घरों में रहने वाले लोगों को जोकि काफी सारी सीढियों को प्रतिदिन उतरते और चढ़ते हैं मुँह बाये खड़ी रहती है फिर चाहे वो बुजुर्ग हों स्कूल जाते छोटे बच्चे हों, बीमार व्यक्ति, दिव्यांगजन या कोई गर्भवती महिला ही क्यों न हो सभी को सीढियों की बहुतायत की समस्या से रोजाना दो चार होना पड़ता है। 

क्योंकि ये परेशानी केवल उन्हीं को भुगतनी पड़ती है कि जिनके कि मकान 20-30 सीढियों से बहुत ज्यादा नीचे हैं जिनमें रहने वाले घरों के मालिक ही नहीं बल्कि किराएदार भी हैं, जिनको रहने के लिए अच्छी सुविधाओं वाला मकान जोकि कम किराये पर उपलब्ध हैं, किन्तु निवासियों को बहुत सी सीढ़ियों से समझौता करना पड़ता है।इन सीढ़ियों की संख्या 200 और इससे अधिक भी हैं।

ऐसी ही कुछ स्थिति हमारे सोलन शहर के वार्ड नंबर -14  और 13 की भी है। 

ऐसी कई आपातकालीन परिस्थितियां सामने आती हैं, जब कि किसी  केस में जरूरत मंद व्यक्ति को समय पर उपचार के लिए अस्पताल पहुंचाने के लिए इन्हीं सीढियों के बारे में कई बार सोचना पड़ता है। 

भविष्य में सभी ने जोकि आज जवान हैं, कल उनको भी बुढ़ा भी होना है और अन्तिम यात्रा के लिए भी इन्हीं सीढियों का सहारा लेना पड़ेगा। 

आज जहां पर हमारा प्रशासन, नगर निगम और नगर पालिका  लोगों की बुनियादी जरूरतों को मद्देनजर रखते हुए उनके स्वास्थ्य और मनोरंजन के लिए छोटे पार्क और गाड़ियों को खड़ा करने के लिए पार्किंग के निर्माण करवा रही है, वहीँ लोगों की सीढियों की समस्या को राहत देने के लिए क्यों नहीं सोचती, जबकि इन घरों में रहने वाले घरों के मालिक समय पर नगर निगम के द्वारा निर्धारित घर कर (हाउस टेक्स) भी देते हैं जरूरत है तो केवल एक सुदृढ़ इच्छाशक्ति की। 

हिमाचल प्रदेश के शहरी पहाड़ी क्षेत्रों में लिफ्ट और रोपवे ट्रॉली का प्रयोजन हो सकता है। पहाड़ी क्षेत्रों में सड़कों की कमी और दुर्गम भूभाग के कारण, लिफ्ट और रोपवे ट्रॉली एक अच्छा विकल्प हो सकता है लोगों को एक स्थान से दूसरे स्थान तक पहुँचाने के लिए।

हिमाचल प्रदेश में पहले से ही कई रोपवे परियोजनाएं हैं जो लोगों को पहाड़ी क्षेत्रों में आसानी से यात्रा करने में मदद करती हैं। 

उदाहरण के लिए, शिमला में जाखू रोपवे और मनाली में सोलांग रोपवे हैं।

शहरी क्षेत्रों में लिफ्ट और रोपवे ट्रॉली के प्रयोजन से न केवल लोगों को न केवल घरों तक पहुंचने में आसानी होगी बल्कि जरूरत मंद और अस्वस्थ लोगों को भी सुविधा पूर्वक चिकित्सालय जैसी जगह पर आसानी से व समय पर पहुंचाया जा सकता है। 

क्या ये कल्पना मात्र ही है ? 

हम लोगों को अभी ये कल्पना मात्र ही नजर आती है, किंतु यदि आमजन निवासी और प्रशासन अपनी इच्छा शक्ति का प्रयोग करें तो इस समस्या का हल निकाल सकते हैं। 

उपाय और निवारण :- ऐसी कॉलोनियों की समस्यायों को वहाँ के पार्षद और प्रतिनिधि चिन्हित करके अपने प्रशासनिक अधिकारियों को दे सकते हैं। 

शहर में बहुत सी कॉलोनियों के अंतिम छोर पर जहां नाले बहते हैं इनको भूमिगत पक्का करके और इनकी छत पर किसी चुनिंदा जगह जहां पर इस प्रकार के उपाय किए जा सकते हैं, जिसका संयोजन किसी पुल के द्वारा मुख्य सड़क से किया जा सकता है।

हालांकि, लिफ्ट और रोपवे ट्रॉली के प्रयोजन के लिए कई तकनीकी और वित्तीय मुद्दों पर विचार करना होगा। इसके लिए सरकार और निजी क्षेत्र के बीच सहयोग और सामंजस्य की आवश्यकता होगी।

रोपवे और लिफ्ट की स्थापना के लिए कई अनुमतियों और मंजूरियों की आवश्यकता भी होगी, जैसे कि स्थानीय प्रशासन, पर्यावरण विभाग, और अन्य संबंधित एजेंसियों से। इसके अलावा, रोपवे और लिफ्ट की स्थापना के लिए वित्तीय संसाधनों की भी आवश्यकता होगी।

शिमला : - स्मार्ट सिटी के तहत बनाई गई इस योजना के तहत  अब लोगों को नहीं चढ़नी पड़ेंगी सीढ़ियां


हिमाचल प्रदेश की राजधानी शिमला में अब स्थानीय और पर्यटकों के लिए लोअर बाजार से मिडिल बाजार तक सफर आसान हो जाएगा. अब लोगों को सीढ़िया नहीं चढ़नी पड़ेगी. स्मार्ट सिटी के तहत बनाई गई इस लिफ्ट का संचालन लंबे इंतजार के बाद आखिरकार आज से शुरू हो गया. लोक निर्माण विभाग के मंत्री विक्रमादित्य सिंह ने इस लिफ्ट का उद्घाटन किया. इस मौके पर शहरी विधायक हरीश जनारथा, नगर निगम के महापौर सुरेंद्र चौहान भी मौजूद रहे.


इस मौके पर कैबिनेट मंत्री विक्रमादित्य सिंह ने कहा, "शिमला शहर में सुविधा देना सरकार की प्राथमिकता है. इसको लेकर सरकार काम कर रही है. शिमला शहर में स्मार्ट सिटी के बहुत से प्रोजेक्ट बनाकर तैयार हो रहे हैं. पार्किंग बन रही है. उसी के तहत लोअर बाजार से मिडिल बाजार के लिए लिफ्ट बनी गई है, जिसे आज जनता को समर्पित कर दिया है"


लोक निर्माण विभाग के मंत्री विक्रमादित्य सिंह ने कहा कि इस लिफ्ट के बन जाने से खासकर वृद्ध जनों को लोअर बाजार से माल रोड जाने के लिए आसानी होगी. इसके अलावा दो और लिफ्ट बनाई जा रही है, जो जल्द बनाकर तैयार हो जाएगी. इसका कार्य जोरो पर चला हुआ है, जिसे जल्द ही जनता को सौंपा जाएगा. शिमला शहर में विकास कार्यों पर सरकार काम कर रही है. प्रदेश में जो नई नगर निगम बनी है, उनके लिए भी रोडमैप बनाया जा रहा है.

साथियो हम सभी सामाजिक प्राणी हैं और समाज में सभी एक दूसरे के साथ किसी n किसी रूप में जुड़े हैं... 

जिनके घर इन दिक्कतों के दायरों में नहीं आते फिर भी उनसे किसी न किसी रूप में किसी सुख और दुःख में आना जाना पड़ता है, सो आपके सहयोग की भी आकांक्षा होगी.... 

इस सन्दर्भ में आपके क्या सुझाव हैं, या प्रतिक्रिया करके आप साझा करें 🙏👆



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